जो अपने मां-बाप को नाराज करता है उसकी सारी इबादतें रद कर दी जाती हैं: मौ. रजा

सगीर अमान उल्लाह जिला ब्यूरो बाराबंकी

बाराबंकी। जो अपने मां-बाप को नाराज करता है उसकी सारी इबादतें रद कर दी जाती हैं। यह बात मौलाना गुलाम अस्करी हाल में मरहूम सै.मो.मेहदी हसन की मजलिस ए छमाही को खिताब करते हुए मौलाना मो. रजा जैदपुरी ने कही। उन्होंने यह भी कहा कि जब इंसान अपने उसूलों से गुमराह हो जाता है तो जालिम हो जाता है। पहाड़, पेड़, जानवर सब अपने उसूलों पर बाकी हैं, सिर्फ इंसान गुमरहीका शिकार है। मौलाना ने आगे कहा जब इंसान इल्म के साथ इबादत करेगा तो हर तरफ इबादत ही इबादत नजर आएगी। इंसानियत और अखलाक नजर आएगा। जब इल्म की कमी होती है तभी गुमरही का जन्म होता है। आखिर में करबला वालों के मसाएब पेश किये जिसे सुनकर मोमनीन रोने लगे। मजलिस से पहले अजमल किन्तूरी ने अपना कलाम पेश करते हुए पढ़ा एक पल में कहकहों के बुझ गये सारे चराग,कौन आया है तबस्सुम की हवा पहने हुए। सरवर करबलाई ने अपना कलाम पेश करते हुए पढ़ा करूंगा मैं भी कसीदा रकम  अली के लिए। चलेगा मेरा हमेशा कलम अली के लिए। इसके अलावा मोनिस रजा, मोनिस सरवर, सादिक, केयान व अरमान ने भी नजरानये अकीदत पेश किया। मजलिस का आगाज तिलावते कलाम पाक से अरमान ने किया। बानिये मजलिस ने सभी का शुक्रिया अदा किया।
सगीर अमान उल्लाह जिला ब्यूरो बाराबंकी

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